बेगूसराय, (mediasaheb.com) नहाय खाय के साथ ही गुरुवार से सूर्योपासना का का चार दिवसीय महापर्व छठ शुरू हो जाएगा।
छठ को लेकर एक ओर बाजार सज चुके हैं। चारों ओर हिंदी, भोजपुरी और मैथिली छठ गीतों की धूम मची हुई है। महंगाई के बावजूद बाजारों में भीड़ उमड़ रही है। छठ को लेकर फलों के दाम जहां आसमान छू रहे हैं। वहीं, बांस का सूप दो सौ रुपया जोड़ा मिल रहा है। बावजूद इसके लोग बाजारों में खरीदारी के लिए उमड़ रहे हैं। पर्व के लिए गंगाजल ले जाने तथा व्रती स्नान करने के लिए तमाम गंगा घाटों पर श्रद्धालुओं की भारी भीड़ लग रही है।महापर्व के नाम से जाने वाले छठ के चार दिवसीय पूजा महोत्सव के पहले दिन गुरुवार को छठ व्रती नहाय खाय करेगी। इस दिन अरवा चावल, चना का दाल और कद्दू की सब्जी खाने का प्रचलन पौराणिक काल से ही चला आ रहा है। जिसकी सारी तैयारी पूरी कर ली गई है। नहाय खाय के दिन व्रती स्नान, ध्यान और पूजा के बाद सूर्य देव को अर्घ्य देने के लिए बनाए जाने वाले प्रसाद का अनाज तैयार करेगी। उसके बाद सात्विक भोजन करेगी। दूसरे दिन शुक्रवार को खरना होगा। जिसमें व्रती दिनभर निराहार रहकर शाम में सूर्यास्त के बाद खीर तैयार कर भगवान को अर्पित कर स्वयं ग्रहण करेगी। इसके बाद परिवार के सभी लोग वह प्रसाद ग्रहण करते हैं। तीसरे दिन शनिवार को सूर्यास्त के समय अस्ताचलगामी सूर्यदेव को अर्घ्य दिया जाएगा। यहां उल्लेखनीय हो कि पूरी दुनिया में छठ व्रती ही ऐसी होती हैं जो उगते हुए सूरज के साथ डूबते हुए सूर्य की भी पूजा करते हैं।
उत्सव के अंतिम दिन सोमवार को सूर्योदय की बेला में उदयाचलगामी सूर्य को अर्घ्य देने के बाद सूर्योपासना का यह पावन पर्व संपन्न हो जाएगा। इस दौरान खरना के बाद से उदित होते सूर्य को अर्घ्य दिए जाने तक व्रती पूरी तरह से निराहार रहेंगे। महंगाई के बावजूद लोक आस्था के महापर्व की तैयारी में जी जान से जुट गए हैं। गांव-गांव में तालाबों को सजाकर छठ घाट बनाए जा रहे हैं। जहां तालाब पूरी तरह से अतिक्रमित और बदहाल है, वहां लोग अपने घर पर ही छोटा तालाब बनाकर अर्घ्य देने की तैयारी कर रहे हैं। इधर जिला के दर्जनों तालाबों की स्थिति छठ के समय में भी काफी बदतर है। पदाधिकारियों के निर्देश के बावजूद तालाबों की साफ-सफाई नहीं के बराबर हो रही है। दूसरी हो जेल में भी छठ पूजा मनाए जाने की पूरी तैयारी की गई है। जेल अधीक्षक बृजेश सिंह मेहता ने बताया कि छठ व्रतियों के लिए कपड़ा एवं तमाम पूजन सामग्रियों की विशेष व्यवस्था की गई है। जो बंदी छठ व्रत कर रहे हैं, उनके भोजन एवं प्रसाद बनाने के लिए चूल्हा की भी अलग व्यवस्था की गई है, ताकि में निष्ठा के साथ छठ मना सकें। इधर जिला प्रशासन द्वारा छठ पर सुरक्षित और शांतिपूर्ण मनाया जाने को लेकर दंडाधिकारी के नेतृत्व में आवश्यक पुलिस बल तैनात किए गए हैं।छठ पूजा समितियों को तालाब एवं नदी किनारे बैरिकेडिंग एवं प्रकाश की व्यवस्था करने का आदेश दिया गया है। रेल लाइन के किनारे पड़ने वाले घाटों पर भीड़भाड़ को देखते हुए शनिवार की दोपहर से रविवार को सुबह तक ट्रेन धीमी गति से चलाने के लिए लिखा गया है, ताकि किसी प्रकार की अनहोनी ना हो। दूसरी ओर गंगा घाटों की सफाई नहीं होने के बाद मंगलवार से युवाओंं की टोली साफ सफाई का जिम्मा उठाते हुए सफाई कर रहे हैं। (हि.स.)।